अविराम ब्लॉग संकलन, वर्ष : 6, अंक : 11-12, जुलाई-अगस्त 2017
वंदना सहाय
01.
तेरी ये आँखें
याद दिला जाती हैं
खिले मोगरे
02.
छायाचित्र : उमेश महादोषी |
नदियों के साथ ही
पानी आँखों का
03.
अम्माँ पोंछती
आज चश्मे की धूल
बच्चे आएँगे
- फ्लैट नं-613, सुन्दरम-2, विंग-सी, मलाड ईस्ट, निकट टाइम्स ऑफ इण्डिया बिल्डिंग, मुम्बई-400097, महा. /मो. 09325887111
सुंदर haiku 👍
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