अविराम ब्लॉग संकलन, वर्ष : 7, अंक : 07-08, मार्च-अप्रैल 2018
।।हाइकु।।
सुरेश उजाला
हाइकु
01.
खत्म सुगन्ध
साँस-साँस में व्याप्त
विषाक्त गंध
02.
आज का सच
झूठ की आकृतियाँ
रचता व्यक्ति
03.
भावों नें चूमे
गीत-ग़ज़ल बन
शब्दों के होंठ
04.
आये क्या दिन
वक्त ने चुभो दिये
सैकड़ों पिन
05.
परछाईं मगर
निभाये साथ
06.
प्यार का अर्थ
जान गये तो ठीक
वरना व्यर्थ
07.
सपना टूटा
जीवन का सच भी
निकला झूठा
- 108-तकरोही, पं. दीनदयालपुरम मार्ग, इन्दिरा नगर, लखनऊ (उ.प्र.)/मोबाइल : 09451144480
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