अविराम ब्लॉग संकलन, वर्ष : 7, अंक : 07-08, मार्च-अप्रैल 2018
अविराम साहित्यिकी
(समग्र साहित्य की समकालीन त्रैमासिक पत्रिका)
खंड (वर्ष) : 6 / अंक : 4 / जनवरी-मार्च 2018 (मुद्रित)
प्रधान सम्पादिका : मध्यमा गुप्ता
अंक सम्पादक : डॉ. उमेश महादोषी
सम्पादन परामर्श : डॉ. सुरेश सपन
मुद्रण सहयोगी : पवन कुमार
अविराम साहित्यिकी का यह मुद्रित अंक रचनाकारों व सदस्योंको 14 फ़रवरी 2018 को तथा अन्य सभी सम्बंधित मित्रों-पाठकों को 18 फ़रवरी 2018 तक भेजा जा चुका है।10 मार्च 2018 तक अंक प्राप्त न होने पर सदस्य एवं अंक के रचनाकार अविलम्ब पुनः प्रति भेजने का आग्रह करें। अन्य मित्रों को आग्रह करने पर उनके ई मेल पर पीडीफ़ प्रति भेजी जा सकती है। पत्रिका पूरी तरह अव्यवसायिक है, किसी भी प्रकाशित रचना एवं अन्य सामग्री पर पारिश्रमिक नहीं दिया जाता है। इस मुद्रित अंक में शामिल रचना सामग्री और रचनाकारों का विवरण निम्न प्रकार है-
।।सामग्री।।
अनवरत-1 (काव्य रचनाएँ)
सुधा गुप्ता (3)
श्रीकृष्ण कुमार त्रिवेदी (4)
संदीप राशिनकर (5)
श्रीराम दवे (6)
प्रतापसिंह सोढ़ी/हितेश व्यास (8)
राजेन्द्र परदेसी/पं. गिरिमोहन गुरु (9)
ब्रह्मजीत गौतम/मुकुट सक्सेना (10)
नरेश कुमार उदास (11)
सरल शताब्दी वर्ष पर विशेष
काव्यांजलि (सरल जी की कविताओं की प्रस्तुति) (12)
ऐसे थे वे: गड़बड़ नागर (19)
छत्तीसगढ़ में लघुकथा
लोकबाबू/सनत कुमार जैन (20)
बाल कृष्ण गुप्ता ‘गुरु’/अख्तर अली (21)
कृष्णधर शर्मा/उर्मिला आचार्य (22)
महेश राजा/के.पी.सक्सेना ‘दूसरे’ (23)
प्रदीप कुमार शर्मा (24)
शैल चन्द्रा (25)
संतोष श्रीवास्तव ‘सम’/खुदेजा (26)
अशोक चतुर्वेदी/मधु सक्सेना (27)
सुरेश तिवारी/सुषमा झा/ विमल तिवारी (28)
आरती सिंह ‘एकता’/सुधा वर्मा (29)
वर्षा रावल (30)
ममता जैन/करमजीत कौर (31)
रजनी साहू (32)
अमृता जोशी/आलोक कुमार सातपुते (33)
कीर्ति गांधी/पूर्णिमा सरोज (34)
विश्वनाथ देवांगन/बी. प्रकाश मूर्ति (35)
उषा अग्रवाल (36)
विमर्श
समकालीन लघुकथा: सामान्य अनुशासन/बलराम अग्रवाल (37)
अनवरत-2 (काव्य रचनाएँ)
शालिनी सचिन (46)
रमेश चन्द्र शर्मा ‘चन्द्र’/उदय करण सुमन/जिया उर रहमान जाफरी (47)
पदमांजलि (48)
कथा प्रवाह (लघुकथाएँ)
स्व. पारस दासोत/भगीरथ (49)
बी. एल. आच्छा (50)
संतोष सुपेकर/निर्देश निधि (51)
रमेश गौतम (52)
मनीषा सक्सेना (53)
कमल कपूर/हेमचन्द्र सकलानी (54)
ज्योत्स्ना कपिल (56)
लोकरंग
प्रकृति का उल्लास पर्व है वसंत/कृष्ण कुमार यादव (57)
किताबें (समीक्षााएँ)
सकारात्मक चिंतन की रचनात्मक कहानियाँ: प्रतापसिंह सोढ़ी के कहानी संग्रह ‘हम सब गुनहगार हैं’ (61)/सहज-सरल जीवन के लिए संघर्ष की कविताएँ: ख़ुदेजा के कविता संग्रह ‘संगत’ (62) तथा नई पीढ़ी की प्रेमाभिव्यक्ति की कहानियाँ: ज्योत्स्ना ‘कपिल’ के कहानी संग्रह ‘प्यासी नदी बहती रही’ (63) की उमेश महादोषी द्वारा समीक्षाएँ।
स्तम्भ
माइक पर: संपादकीय (आव. 2)/गतिविधियाँ (65)/प्राप्ति स्वीकार (68)/ सूचनाएँ (36, 48, 55, 60 एवं आवरण-3)
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